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खेती बनेगी आमदनी का जरिया

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मीडिया लाइव: जिले में क्लस्टर बेस खेती को बढ़ावा दिया जाएगा। इसके लिए DM ने संबंधित विभागों के अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं। काश्तकारों को हर सम्भव सहायता मुहैया कराने को भी जिलाधिकारी ने कहा है। विकास भवन सभागार में जिला योजना समिति की बैठक में डीएम ने यह यह निर्देश दिए। यह बैठक जिलाधिकारी सुशील कुमार की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई। बैठक में आगामी जिला योजना वर्ष 2017-18 के लिए विभागों द्वारा अपने प्रस्ताव जिला योजना समिति के समक्ष प्रस्तुत किये जाएंगे।

इस अवसर पर जिलाधिकारी ने विभागीय अधिकारियों को हिदायत दी कि निर्माण कार्यों तथा विभागों में कार्यरत पीआरडी स्वयंसेवकों व अन्य संविदा कार्मिकों का वेतन अब जिला योजना के मद से नहीं दिया जाएगा। इसके लिए अब विभाग अपने-अपने विभागाध्यक्षों से अपने-अपने कार्मिकों एवं पीआरडी स्वयं सेवकों का मानदेय तथा निर्माण कार्यो के लिए धनराशि की मांग करेंगे। उन्होंने पशुपालन उद्यान कृषि एवं सहकारिता विभाग के अधिकारियों को कलस्टर बेस खेती कराये जाने पर जोर दिया। उन्होंने कुकुट पालन, हैचरी व पॉल्ट्री के माध्यम से भी विभागीय आमदनी बढ़ाये जाने का प्रयास करने को कहा।

उन्होंने उद्यान स्थापना, आलू विकास व मसाला क्षेत्र के साथ-साथ बेमौसमी फल व सब्जियों का उत्पादन के लिए काश्तकारों को नवीनतम कृषि यंत्र, दवाईयां, बीज व अन्य सहायतित सामग्रियां काश्तकारों को उपलब्ध कराये जाने को कहा। विभागों की चर्चा के दौरान जिलाधिकारी ने लोक निर्माण विभाग, सिंचाई, वन विभाग, व पयेजल विभागों को हिदायत दी कि वे अपने जिला योजना के प्रस्ताव तैयार करने में डीपीसी के सदस्यों से भी प्रस्ताव प्राप्त करें तथा उसी के अनुरूप आगामी जिला योजना के लिए प्रस्ताव तैयार करें। बैठक में पर्यटन विभाग के सहायक निदेशक एवं अधिशासी अभियंता पेयजल निर्माण निगम के अनुपस्थित रहने पर डीएम ने रोष जताया। उन्होंने नदारद अधिकारियों को उनके विभागाध्यक्षों से अनुपस्थति के सापेक्ष पत्राचार करने के निर्देश दिये। जिलाधिकारी ने समाज कल्याण के तहत विभिन्न पेंशन प्राप्तकर्ताओं को समय से उनकी पेंशन उपलब्ध कराने के लिए प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश दिये। उन्होंने जिला पंचायत राज अधिकारी को प्रत्येक ब्लाक में एक पंचायत घर मनरेगा तथा राज्य वित्त आयोग की मदद से तैयार करने के निर्देश दिये। उन्होंने एनआरएलएम, आईएलएसटी, जायका व कैम्पा, स्वजल, ग्राम्या, शुद्ध पेयजल व आईडब्ल्यूएमपी के प्रस्तावों के लिए विभागीय समन्वय बनाकर कार्य करने पर जोर दिया। बैठक में विभिन्न विभागों के लिए आवंटित धनराशि पर विस्तार से चर्चा हुई तथा विभागाध्यक्षों को अपने विभागों के कार्यक्रमों व योजनाओं के प्रस्ताव प्रस्तुत करने के भी निर्देश दिये गये। जिला योजना समिति की इस बैठक में सिंचाई व लघु सिंचाई विभागों, ग्रामीण निर्माण विभाग के अभियंताओं को निर्माण कार्याें में गुणवत्ता एवं पारदर्शिता पर पैनी नजर रखने के निर्देश भी बैठक में दिये गये। आज आयोजित जिला येाजना समिति की इस बैठक में परियोजना निदेशक एसएस शर्मा, जिला विकास अधकारी वेद प्रकाश, मुख्य कृषि अधिकारी डा. डीएस राणा, प्रभागीय वनाधिकारी रमेश चंद्र, अधिशासी अभियंता नोडल लोक निर्माण विभाग निर्भय सिंह, अधिशासी अभियंता जल संस्थान पीके सैनी, मुख्य शिक्षाधिकारी एमएस रावत, चिकित्साधिक्षक डा. अजीत जोहरी समेत विभिन्न विभागों को जिलास्तारीय अधिकारी उपस्थित रहे। बैठक का संचालन जिला अर्थ एवं संख्याधिकारी निर्मल कुमार शाहर ने किया।