लोगों को आसानी से मिले सरकारी सेवाओं का लाभ
मीडिया लाइव नैनीताल : उत्तराखंड सरकार सुशासन के प्रति लगातार प्रयासरत है, इसके लिए सूबे में सेवा का चयन आयोग गठित किया गया है. मकसद आमजनमानस को आसानी से सरकारी सेवाओं का समुचित लाभ पहुँचाना है. इसके लिए समय-समय पर आयोग सरकार की मनसा के अनुरूप विभिन्न कार्यक्रम आयोजित करता है. इसी कड़ी में आयोग ने शनिवार को नैनीताल में अधिकार-पत्र एवं सेवा का अधिकार अधिनियम’’ पर राज्य स्तरीय कार्यशाला का आयोजन किया.
जनपद नैनीताल में कार्यशाला का शुभारम्भ करते हुए आयोग के मुख्य आयुक्त आलोक कुमार जैन ने कहा सरकारी सेवकों को आम लोगों के संवेदनशील और सेवाभाव का व्यवहार करना चाहिए। उन्होंने कहा इससे लोगों में सरकारी सेवाओं और लोक सेवकों की कार्य प्रणाली के प्रति सकारात्मक सन्देश जा सके। इसके अवाला उत्तराखंड सेवा का आयोग के आयुक्त डी.एस. गर्ब्याल ने सुशासन एवं उसके बहुआयामी पहलुओं, नागरिक अधिकार-पत्र की अवधारणा एवं उसके उद्देश्यों सहित उत्तराखण्ड सेवा का अधिकार अधिनियम के क्रियान्वयन, सेवा-आवेदनों के निस्तारण तथा जन-सामान्य को उपलब्ध कराई जा रही सेवाओं के विषय में पारदर्शिता, समयबद्धता एवं जवाबदेही सुनिश्चित किये जाने पर जोर दिया। अवनेंद्र सिंह नयाल, निदेशक, डॉ आर. एस. टोलिया उत्तराखण्ड प्रशासन अकादमी, नैनीताल ने कहा कि प्रशासनिक सुधारों का आशय मूलतः नागरिकों को सेवायें, सुलभता एवं सरलता से बिना किसी भेदभाव के उपलब्ध कराना है। कार्यक्रम में बी.बी. ध्यानी, उपनिबन्धक, डॉ. दीपक पालीवाल, शासन के प्रतिनिधि श्री सुमन सिंह बल्दिया, अपर सचिव राजस्व तथा जनपदों एवं विभागों द्वारा नामित अधिकारियों ने हिस्सा लिया. इनके अलावा अपीलीय प्राधिकारियों ने भी प्रतिभाग किया गया। पंकज नैथानी ने कार्यशाला के माध्यम से नागरिक अधिकार-पत्र बनाये जाने, अधिकारियों को आवेदनों की प्राप्ति, जारी रिसीविंग के निस्तारण, अस्वीकृत आवेदनों के कारणों को लिखित में आवेदक को दिये जाने, अपीलीय प्राधिकारियों को कार्यालय निरीक्षण करने और समय प्रवंधन के महत्व पर पर जोर देने की जरूरत बताई.