MEDIA LIVE : रिजर्व फॉरेस्ट में लगी आग, ग्रामीणों ने दी जानकारी
देहरादून/साहिया: उत्तराखण्ड में हर साल लाखों हेक्टेयर वन क्षेत्र आग की भेंट चढ़ जाता है। इस वनाग्नि से जहां पर्यावरण की अपूर्णीय क्षति होती है, वहीं करोड़ों रुपए की वन संपदा भी जल का राख हो जाती है। विभाग और सरकारें इस पर नियंत्रण पाने के नाम पर अलग से करोड़ों रुपए खर्च करते हैं, लेकिन नतीजा फिर के तीन पात। ताजा मामला राजधानी वाले जिले से सामने आया है।
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खबर के मुताबिक चकराता वन प्रभाग की रीवर रेंज के अंतर्गत आने वाली साहिया वन बीट के जंगल में आग लग जाने से क्षेत्र में हड़कंप मच गया। आबादी से सटा होने के कारण क्षेत्र में अफरा-तफरी का माहौल बना हुआ है। उधर, सूचना देने के बाद काफी देरी से पहुंची वन विभाग की टीम की कार्यशैली को लेकर ग्रामीणों ने नाराजगी जताई है।
साहिया पाटन से सटे इलाके में सोमवार को रिजर्व फॉरेस्ट क्षेत्र में अचानक आग लग गई। आसपास के लोग आग बुझाने में जुट गए। लोगों ने घटना की जानकारी वन विभाग को दी। कई घंटो बाद मौके पर पहुंचे वनकर्मियों से ग्रामीणों ने नाराजगी जताई।
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ग्राम निवासी बारूदत्त शर्मा, ग्यारूदत्त शर्मा, सियाराम शर्मा, कांतिराम शर्मा, गंगा सिंह चौधरी, सुदामा प्रसाद, बबलू, मनोज, महेंद्र सिंह के आम, नींबू, अखरोट व रीठा आदि के पेड़ भी आग में जलकर राख हो गए।
ग्रामीणों के मुताबिक अचानक लगी आग की सूचना तुरंत ही वन विभाग को दे दी गई थी, लेकिन वनकर्मियों के कई घंटे बाद मौके पर पहुंचने के कारण आग को समय से नियंत्रित नहीं किया गया।
उधर रीवर रेंज के रेंजर जीएस दमनदा ने कहा कि आग लगने की सूचना पर तत्काल मौके पर वनकर्मी पहुंचे। आग बुझाने वाली टीम में वन दरोगा देवेंद्र कुमार मिश्रा, केडी ममगाई, एकेश राणा, शिवराम, गेंदा राम, सूरत सिंह शामिल रहे।
फोटो: सोशल मीडिया से सिंबोलिक