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लग गयी आदर्श आचार संहिंता : चुनाव आयोग

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मीडिया लाइव : देश में होने जा रहे आम चुनाव के लिए तत्काल प्रभाव से आदर्श आचार चार संहिता लागू हो गयी है. आयोग ने लोकसभा चुनाव 2019 की तारीखों का एलान कर दिया है। चुनाव सात चरणों में कराए जाएंगे। अप्रैल और मई में सात चरणों में लोकसभा की 543 सीटों के लिए चुनाव कराए जाएंगे।मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने दिल्ली के विज्ञान भवन में प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिये ये घोषणा की है. मुख्य चुनाव आयुक्त कर रहे हैं PC : लोकसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान कर दिया गया है. सात चरणों में होंगे चुनाव

पहला चरण  11 अप्रैल
दूसरा चरण 18 अप्रैल
तीसरा चरण 23 अप्रैल
चौथा चरण 29 अप्रैल
पांचवां चरण 06 मई
छठा चरण 12 मई
सातवां चरण 19 मई
मतगणना 23 मई

अभी चल रही है निर्वाचन आयोग की प्रेस कॉन्फ्रेंस।

आयोग ने जो जानकारी दी है उसके मुताबिक देश में होने वाले आम चुनाव में 90 करोड़ वोट डेल जायेंगे। चुनाव में नोटा का भी स्तेमाल होगा। हर बूथ पर पर वीवी पैट का स्तेमाल होगा। उम्मीदवार की तस्वीर होगी रात दस बजे से सुबह 6 बजे तक लाउडस्पीकर बैन। चुनाव के दौरान परीक्षाओं और त्योहारों का भी ध्यान रखा गया है. ऐसे में किसी भी प्रकार की हिंसा को रोकने के लिए किये गए हैं कड़े प्रावधान. सभी संवेदनशील बूथों पर सीआरपीएफ तैनात रहेगी. आपराधिक रिकॉर्ड की जानकारी उम्मीदवारों को देनी होगी. चुनाव के लिए हेल्प लाइन 1950 की ब्यवस्था. खबर लगातार अपडेट की जा रही है. चुनाव में 90 करोड़ लोग अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे। करीब डेढ़ करोड़ वोटर 18-19 आयु वर्ग के होंगे।

-मतदाता सूची एक बार प्रकाशित होने के बाद उसमें से नाम नहीं वापस लिया जा सकेगा।

-1950 नंबर डायल कर वोटर लिस्ट संबंधित जानकारी ले सकेंगे।

– पहचान पत्र के लिए 11 विकल्प रखे गए हैं।

-10 लाख मतदान केंद्र बनाए जाएंगे, 2014 में 9 लाख मतदान केंद्र बनाए गए थे।

-हर मतदान केंद्र पर ईवीएम के साथ वीवीपैट का भी इस्तेमाल होगा।

-ईवीएम की सुरक्षा को लेकर कड़े इंतजाम किए जाएंगे। ईवीएम की जीपीएस ट्रैकिंग होगी। 2018 में हुए विधानसभा चुनाव में कुछ बदइंतजामी को देखते हुए कुछ नए दिशानिर्देश बनाए गए हैं। 

-रात 10 से सुबह 6 बजे तक लाउडस्पीकर का इस्तेमाल प्रतिबंधित रहेगा। मतदान से 48 घंटे पहले लाउडस्पीकर का इस्तेमाल पूरी तरह प्रतिबंधित।

– ईवीएम पर उम्मीदवार की तस्वीर होगी।

– मतदान से 5 दिन पहले मिल सकेगी वोटर स्लिप।

– सी-विजिल एप के जरिए आम आदमी कर सकेगा आचार संहिता के उल्लंघन की रिपोर्टिंग। 100 मिनट के भीतर संबंधित अधिकारी देंगे जवाब।

– दिव्यांगों के लिए विशेष एप की सुविधा ताकि मतदान के दिन वो परेशान न हों।

-कम्यूनिटी रेडियो के जरिए जागरुकता फैलाई जाएगी।

-चुनाव में मीडिया की सकारात्मक भूमिका। पेड न्यूज पर होगी सख्त कार्रवाई

-संवेदनशील इलाकों में सीआरपीएफ की तैनाती।

-फेसबुक, ट्विटर, यूट्यूब पर राजनीतिक विज्ञापन की जानकारी रखी जाएगी।

-सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ने शिकायत अधिकारी नियुक्त करने का वादा किया।

जम्मू कश्मीर में विधानसभा चुनाव पर आयोग ने कहा कि राज्य सरकार और गृह मंत्रालय से इस बाबत चर्चा की गई है. उन्होंने कहा कि वहां फिलहाल विधानसभा चुनाव नहीं होंगे. चार राज्यों के विधानसभा चुनाव लोकसभा चुनाव के साथ होंगे. इन राज्यों में ओडिशा, सिक्किम, अरुणाचल प्रदेश और आंध्र प्रदेश शामिल हैं.

देश में होने वाले सभी चुनावों से पहले चुनाव आयोग आचार संहिता (Code of Conduct) लगाता है। इस दौरान राजनीतिक दलों, उनके उम्मीदवारों और आम जनता को सख्त नियमों का पालन करना होता है। अगर कोई उम्मीदवार इन नियमों का पालन नहीं करता तो चुनाव आयोग उसके खिलाफ कार्रवाई कर सकता है। उसे चुनाव लड़ने से रोका जा सकता है और  उसके खिलाफ एफआईआर भी दर्ज की जा सकती है।

ये है आचार संहिता का मतलब :-

* कोई भी दल ऐसा काम न करे, जिससे जातियों और धार्मिक या भाषाई समुदायों के बीच मतभेद बढ़े या घृणा फैले।
* राजनीतिक दलों की आलोचना कार्यक्रम व नीतियों तक सीमित हो, न कि व्यक्तिगत।
* धार्मिक स्थानों का उपयोग चुनाव प्रचार के मंच के रूप में नहीं किया जाना चाहिए।
* मत पाने के लिए भ्रष्ट आचरण का उपयोग न करें। जैसे-रिश्वत देना, मतदाताओं को परेशान करना आदि।
* किसी की अनुमति के बिना उसकी दीवार, अहाते या भूमि का उपयोग न करें।
* किसी दल की सभा या जुलूस में बाधा न डालें।
* राजनीतिक दल ऐसी कोई भी अपील जारी नहीं करेंगे, जिससे किसी की धार्मिक या जातीय भावनाएं आहत होती हों।

चुनावी सभाओं के लिए नियम :

* सभा के स्थान व समय की पूर्व सूचना पुलिस अधिकारियों को दी जाए।
* दल या अभ्यर्थी पहले ही सुनिश्चित कर लें कि जो स्थान उन्होंने चुना है, वहॉं निषेधाज्ञा तो लागू नहीं है।
* सभा स्थल में लाउडस्पीकर के उपयोग की अनुमति पहले प्राप्त करें।
* सभा के आयोजक विघ्न डालने वालों से निपटने के लिए पुलिस की सहायता करें।